तांबे के बर्तन का पानी पीना सेहत के लिए अमृत सामान, लेकिन इन चीजों का ख्याल रखें
सेहतराग टीम
तांबे के बर्तन में पानी पीना सेहत के लिए अमृत सामान माना जाता है। ऐसा इसलिए क्योंकि इसके पानी को पीने से कई बीमारियों से बचाव करने में मदद मिलती है। तांबे में रखे हुए पानी को ताम्र जल जाता है। पानी को तांबे के लोटे, जग या गिलास में कम से कम आठ घंटे तक रखें, इसके बाद इसे पीने से शरीर को कई फायदे होते हैं। आइए जानते हैं कि इससे क्या-क्या फायदे मिलते हैं।
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तांबे के बर्तन का पानी पीने से सेहत को होने वाले फायदे:
- इस पानी के सेवन से शरीर से विषैले पदार्थ बाहर निकल जाते हैं।
- ताम्र जल से पीलिया में फायदे होता है। यह बैक्टेरिया को आसानी से खत्म कर देता है। डायरिया और पीलिया जैसे रोगों के बैक्टीरियां भी मर जाते हैं।
- इस पानी का सेवन थायराइड ग्लैंड के लिए अच्छा माना जाता है।
- इसमें मौजूद एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण जोड़ों में दर्द और गठिया की शिकायत होने पर लाभ देते हैं।
- त्वचा के लिए भी यह फायदेमंद होता है। सुबह तांबे के बर्तन का जल पीने से त्वचा चमकती है।
- इस पानी को पीने से पेट की समस्या जैसे गैस, एसिडिटी से भी छुटकारा मिलता है।
- वजन घटाने में भी कारगर है।
- गर्भावस्था के दौरान इसका पानी पीने से बहुत लाभ मिलता है।
कभी-कभी यह नुकसानदायक भी हो सकता है। जैसे कि अगर आप अधिक मात्रा में पीते हैं तो यह फायदे की जगह नुकसानदायक हो सकता है। शरीर में अधिकांश तांबा लिवर, मस्तिष्क, दिल, किडनी और हड्डियों की मांसपेशियों में पाया जाता है। इसकी मात्रा सामान्य स्तर से ज्यादा या कम होना हानिकारक है।
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तांबे में पानी पीने के लाभ तो हैं, लेकिन कुछ चीजें ऐसी हैं जो कि अगर इस तांबे के बर्तन में रखी जाएं तो बहुत नुकसान पहुंचा सकती हैं।
- नींबू: किसी भी रूप में नींबू का तांबे के बर्तन के संपर्क में आना नुकसानदायक है। नींबू में मौजूद एसिड तांबे के साथ क्रिया करता है, जो सेहत के लिए अच्छा नहीं है।
- दही: तांबे के बर्तन में दही रखना और उस दही को खाना सेहत के लिए हानिकारक है। इससे फूड पॉइजनिंग हो सकती है। तांबे के बर्तन में रखे दही के सेवन से घबराहट और जी मिचलाने की समस्या हो सकती है।
- सिरका: तांबे के बर्तन के साथ सिरका रखने पर रासायनिक क्रिया होती है जो कि सेहत के लिए अच्छी नहीं है, क्योंकि सिरका एक तरह का अम्लीय पदार्थ है।
- अचार: तांबे के बर्तन में अचार रखने की गलती कभी न करें, क्योंकि अचार में मौजूद खटाई तांबे के साथ मिलकर सेहत बिगाड़ती है। अचार में भी सिरका होता है, जो कि तांबे के संपर्क में आने पर जहर बन जाता है।
- छाछ: जिस तरह से दही तांबे के बर्तन में रखने से खाने-पीने लायक नहीं होता है, वैसे ही छाछ और तांबे के बर्तन का मेल गलत है।
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